नालंदा में NIA की छापेमारी:हथियार तस्करी मामलें में 2 ठिकानों पर रेड; 6 महीने पहले मिला था 717 कारतूस

नालंदा में NIA की छापेमारी:हथियार तस्करी मामलें में 2 ठिकानों पर रेड; 6 महीने पहले मिला था 717 कारतूस

अवैध हथियारों की तस्करी के एक मामले में राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने आज नालंदा में कार्रवाई की है। बिहार विशेष कार्य बल (एसटीएफ) के सहयोग से दो ठिकानों पर छापेमारी हुई। हालांकि, इस अभियान में कोई सामग्री बरामद नहीं हो सकी। अहले सुबह हुई छापेमारी एनआईए और एसटीएफ की संयुक्त टीम आज सुबह तीन बजे ही नालंदा के दो अलग-अलग स्थानों पर पहुंच गई। छापेमारी बिहार थाना क्षेत्र के बारादरी मोहल्ले में मोहम्मद परवेज के घर और भागन बीघा ओपी क्षेत्र में राजेंद्र यादव के निवास पर की गई। दोनों ही स्थानों पर एजेंसी की टीम ने विस्तृत तलाशी ली, लेकिन कुछ भी आपत्तिजनक बरामद नहीं हुआ। संबंधित व्यक्तियों से केवल पूछताछ की गई। छह महीने पहले मिला था कारतूस का जखीरा यह छापेमारी छह महीने पहले हुई एक बड़ी कार्रवाई से जुड़ी है। 23 जून 2025 को नालंदा पुलिस और एसटीएफ ने अवैध हथियार और गोली-बारूद के तस्करों के खिलाफ एक विशेष अभियान चलाया था। इस ऑपरेशन के दौरान भागन बीघा थाना क्षेत्र के विभिन्न स्थानों पर छापेमारी की गई थी। उस अभियान में सोहसराय थाना के आशा नगर स्थित अभिजीत कुमार उर्फ रॉबिन यादव के किराए के मकान से विभिन्न बोर के कुल 717 जिंदा कारतूस बरामद किए गए थे। इसके अलावा, रॉबिन यादव के भागन बीघा स्थित घर पर छापेमारी के दौरान 117 गोलियां बरामद की गई थीं। इसी स्थान से अभिजीत के पिता राजेंद्र यादव को गिरफ्तार किया गया था। मुख्य आरोपी की गिरफ्तारी इस पूरे मामले की शुरुआत तब हुई थी जब एसटीएफ ने मुख्य आरोपी अभिजीत कुमार को उत्तर प्रदेश से लौटते समय कैमूर के मोहनिया से गिरफ्तार किया था। उसकी कार की तलाशी में 3700 जिंदा कारतूस बरामद किए गए थे। इतनी बड़ी मात्रा में गोला-बारूद की बरामदगी ने मामले की गंभीरता को उजागर किया था। एनआईए को सौंपा गया मामला मामले की संवेदनशीलता और अंतरराज्यीय आयाम को देखते हुए बिहार एसटीएफ ने इस केस को राष्ट्रीय जांच एजेंसी को सौंप दिया था। तब से एनआईए इस मामले की गहन जांच कर रही है। सदर डीएसपी संजय कुमार जायसवाल ने बताया कि छह महीने पहले भारी मात्रा में कारतूस बरामद हुए थे। उसी मामले की आगे की जांच के सिलसिले में एनआईए की टीम यहां पहुंची थी। अवैध हथियारों की तस्करी के एक मामले में राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने आज नालंदा में कार्रवाई की है। बिहार विशेष कार्य बल (एसटीएफ) के सहयोग से दो ठिकानों पर छापेमारी हुई। हालांकि, इस अभियान में कोई सामग्री बरामद नहीं हो सकी। अहले सुबह हुई छापेमारी एनआईए और एसटीएफ की संयुक्त टीम आज सुबह तीन बजे ही नालंदा के दो अलग-अलग स्थानों पर पहुंच गई। छापेमारी बिहार थाना क्षेत्र के बारादरी मोहल्ले में मोहम्मद परवेज के घर और भागन बीघा ओपी क्षेत्र में राजेंद्र यादव के निवास पर की गई। दोनों ही स्थानों पर एजेंसी की टीम ने विस्तृत तलाशी ली, लेकिन कुछ भी आपत्तिजनक बरामद नहीं हुआ। संबंधित व्यक्तियों से केवल पूछताछ की गई। छह महीने पहले मिला था कारतूस का जखीरा यह छापेमारी छह महीने पहले हुई एक बड़ी कार्रवाई से जुड़ी है। 23 जून 2025 को नालंदा पुलिस और एसटीएफ ने अवैध हथियार और गोली-बारूद के तस्करों के खिलाफ एक विशेष अभियान चलाया था। इस ऑपरेशन के दौरान भागन बीघा थाना क्षेत्र के विभिन्न स्थानों पर छापेमारी की गई थी। उस अभियान में सोहसराय थाना के आशा नगर स्थित अभिजीत कुमार उर्फ रॉबिन यादव के किराए के मकान से विभिन्न बोर के कुल 717 जिंदा कारतूस बरामद किए गए थे। इसके अलावा, रॉबिन यादव के भागन बीघा स्थित घर पर छापेमारी के दौरान 117 गोलियां बरामद की गई थीं। इसी स्थान से अभिजीत के पिता राजेंद्र यादव को गिरफ्तार किया गया था। मुख्य आरोपी की गिरफ्तारी इस पूरे मामले की शुरुआत तब हुई थी जब एसटीएफ ने मुख्य आरोपी अभिजीत कुमार को उत्तर प्रदेश से लौटते समय कैमूर के मोहनिया से गिरफ्तार किया था। उसकी कार की तलाशी में 3700 जिंदा कारतूस बरामद किए गए थे। इतनी बड़ी मात्रा में गोला-बारूद की बरामदगी ने मामले की गंभीरता को उजागर किया था। एनआईए को सौंपा गया मामला मामले की संवेदनशीलता और अंतरराज्यीय आयाम को देखते हुए बिहार एसटीएफ ने इस केस को राष्ट्रीय जांच एजेंसी को सौंप दिया था। तब से एनआईए इस मामले की गहन जांच कर रही है। सदर डीएसपी संजय कुमार जायसवाल ने बताया कि छह महीने पहले भारी मात्रा में कारतूस बरामद हुए थे। उसी मामले की आगे की जांच के सिलसिले में एनआईए की टीम यहां पहुंची थी।  

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