ऐतिहासिक नगरी राजगीर में आगामी 14 जनवरी से 21 जनवरी 2026 तक मकर मेला का आयोजन किया जाएगा। जिसको लेकर तैयारियां अंतिम चरण में पहुंच गई है। नालंदा के जिलाधिकारी कुंदन कुमार ने मेले के सफल आयोजन को लेकर सभी संबंधित विभागों के पदाधिकारियों को दिशा-निर्देश जारी किए हैं। राज्य सरकार की ओर से राजकीय मेला घोषित यह आयोजन प्रतिवर्ष हजारों श्रद्धालुओं और पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करता है। राजगीर के पवित्र कुंडों और धाराओं में स्नान करने, पूजा-अर्चना करने और ऐतिहासिक पर्यटकीय स्थलों के दर्शन करने के लिए देश-विदेश से पर्यटक यहां पहुंचते हैं। सुरक्षा और सुविधा सर्वोच्च प्राथमिकता संबंधित अधिकारियों को निर्देश देते हुए जिलाधिकारी कुंदन कुमार ने स्पष्ट किया कि इस अवसर पर आने वाले श्रद्धालुओं और पर्यटकों की सुरक्षा एवं सुविधाओं को हर हाल में सुनिश्चित किया जाना आवश्यक है। उन्होंने कहा कि मेले की सफलता इस बात में निहित है कि आगंतुकों को किसी प्रकार की असुविधा का सामना न करना पड़े। जिलाधिकारी ने विभिन्न समितियों के गठन पर विशेष बल दिया है, ताकि प्रत्येक विभाग की जवाबदेही तय हो और समन्वय बेहतर हो सके। व्यापक आयोजन की रूपरेखा मकर मेले के दौरान विविध कार्यक्रमों और प्रतियोगिताओं का आयोजन किया जाएगा। इनमें सांस्कृतिक कार्यक्रम, दही खाओ प्रतियोगिता, पतंग उत्सव, रंगोली प्रतियोगिता, कृषि उत्पाद प्रदर्शनी, पालकी सज्जा, सामान्य ज्ञान प्रतियोगिता, फूड स्टॉल, दंगल प्रतियोगिता, एथलेटिक्स सहित विभिन्न खेल प्रतियोगिताएं शामिल हैं। मेले की एक विशेष आकर्षण उच्च नस्ल के देसी दुधारू पशुओं की प्रदर्शनी होगी, जिसके माध्यम से पशुपालन को बढ़ावा देने का प्रयास किया जा रहा है। बुनियादी सुविधाओं पर फोकस जिलाधिकारी ने साफ-सफाई, शौचालय व्यवस्था, पेयजल की उपलब्धता, यातायात प्रबंधन और भीड़ नियंत्रण जैसे महत्वपूर्ण पहलुओं पर विशेष ध्यान देने के निर्देश दिए हैं। राजगीर शहर के सौंदर्यीकरण और सुरक्षा व्यवस्था को लेकर भी सख्त निर्देश जारी किए गए हैं। चाइनीज मांझे पर प्रतिबंध पतंगबाजी के दौरान सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए जिलाधिकारी ने स्पष्ट निर्देश दिया है कि चाइनीज मांझे का इस्तेमाल किसी भी हालत में नहीं होना चाहिए। इस संबंध में विशेष निगरानी रखने के आदेश दिए गए हैं। उद्घाटन और समापन समारोह की भव्यता को लेकर भी विस्तृत योजना बनाई जा रही है। सभी संबंधित विभागों को अपनी तैयारियां पूर्ण करने और किसी भी आकस्मिकता से निपटने के लिए तैयार रहने के निर्देश दिए गए हैं। ऐतिहासिक नगरी राजगीर में आगामी 14 जनवरी से 21 जनवरी 2026 तक मकर मेला का आयोजन किया जाएगा। जिसको लेकर तैयारियां अंतिम चरण में पहुंच गई है। नालंदा के जिलाधिकारी कुंदन कुमार ने मेले के सफल आयोजन को लेकर सभी संबंधित विभागों के पदाधिकारियों को दिशा-निर्देश जारी किए हैं। राज्य सरकार की ओर से राजकीय मेला घोषित यह आयोजन प्रतिवर्ष हजारों श्रद्धालुओं और पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करता है। राजगीर के पवित्र कुंडों और धाराओं में स्नान करने, पूजा-अर्चना करने और ऐतिहासिक पर्यटकीय स्थलों के दर्शन करने के लिए देश-विदेश से पर्यटक यहां पहुंचते हैं। सुरक्षा और सुविधा सर्वोच्च प्राथमिकता संबंधित अधिकारियों को निर्देश देते हुए जिलाधिकारी कुंदन कुमार ने स्पष्ट किया कि इस अवसर पर आने वाले श्रद्धालुओं और पर्यटकों की सुरक्षा एवं सुविधाओं को हर हाल में सुनिश्चित किया जाना आवश्यक है। उन्होंने कहा कि मेले की सफलता इस बात में निहित है कि आगंतुकों को किसी प्रकार की असुविधा का सामना न करना पड़े। जिलाधिकारी ने विभिन्न समितियों के गठन पर विशेष बल दिया है, ताकि प्रत्येक विभाग की जवाबदेही तय हो और समन्वय बेहतर हो सके। व्यापक आयोजन की रूपरेखा मकर मेले के दौरान विविध कार्यक्रमों और प्रतियोगिताओं का आयोजन किया जाएगा। इनमें सांस्कृतिक कार्यक्रम, दही खाओ प्रतियोगिता, पतंग उत्सव, रंगोली प्रतियोगिता, कृषि उत्पाद प्रदर्शनी, पालकी सज्जा, सामान्य ज्ञान प्रतियोगिता, फूड स्टॉल, दंगल प्रतियोगिता, एथलेटिक्स सहित विभिन्न खेल प्रतियोगिताएं शामिल हैं। मेले की एक विशेष आकर्षण उच्च नस्ल के देसी दुधारू पशुओं की प्रदर्शनी होगी, जिसके माध्यम से पशुपालन को बढ़ावा देने का प्रयास किया जा रहा है। बुनियादी सुविधाओं पर फोकस जिलाधिकारी ने साफ-सफाई, शौचालय व्यवस्था, पेयजल की उपलब्धता, यातायात प्रबंधन और भीड़ नियंत्रण जैसे महत्वपूर्ण पहलुओं पर विशेष ध्यान देने के निर्देश दिए हैं। राजगीर शहर के सौंदर्यीकरण और सुरक्षा व्यवस्था को लेकर भी सख्त निर्देश जारी किए गए हैं। चाइनीज मांझे पर प्रतिबंध पतंगबाजी के दौरान सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए जिलाधिकारी ने स्पष्ट निर्देश दिया है कि चाइनीज मांझे का इस्तेमाल किसी भी हालत में नहीं होना चाहिए। इस संबंध में विशेष निगरानी रखने के आदेश दिए गए हैं। उद्घाटन और समापन समारोह की भव्यता को लेकर भी विस्तृत योजना बनाई जा रही है। सभी संबंधित विभागों को अपनी तैयारियां पूर्ण करने और किसी भी आकस्मिकता से निपटने के लिए तैयार रहने के निर्देश दिए गए हैं।


