राजकीय अस्पताल में लंबे समय से बंद ईमित्र मशीन, जिम्मेदार बेपरवाह 

राजकीय अस्पताल में लंबे समय से बंद ईमित्र मशीन, जिम्मेदार बेपरवाह 

आमजन को आधुनिक तकनीक के माध्यम से एक ही स्थान पर 400 प्रकार की सरकारी और निजी सेवा मिलने के उद्देश्य से शुरू की गई ई-मित्र प्लस मशीनें शो-पीस बन कर रह गई है। शुरू होने के तीन साल बाद भी इसकी कोई सुध नहीं ले रहा है। कस्बे के राजकीय अस्पताल में लंबे समय से ई-मित्र प्लस मशीन उपयोगिता के अभाव में केवल शो पीस बनी हुई है।

जानकारी के अनुसार रामदेवरा में सरकार की ओर से दो ईमित्र मशीन लगी है। पहली आईटी केंद्र में तो दूसरी राजकीय अस्पताल में लगी हुई है। आईटी केंद्र में लगी हुई ई मित्र मशीन तो वर्तमान में आई केंद्र के ही काम में ली जा रही । इसकी उपयोगिता भी आमजन के लिए काम नहीं आ रही है। वहीं दूसरी ई मित्र मशीन राजकीय अस्पताल में लगाने के कुछ समय इसका उपयोग हुआ। उसके बाद ये ईमित्र मशीन पूरी तरह से बंद पड़ी है। जागरुकता व जानकारी के अभाव के कारण अब तक इस मशीन का आमजन उपयोग नहीं कर पा रहा है।विभिन्न जगहों पर बंद है ई मित्र मशीन:

लगभग 600 करोडों रुपए की लागत से योजना में लगाई गई ई मित्र मशीनें धूल फांक रही है। सरकार ने दावा किया था कि कार्यालयों में इन मशीनों के शुरू होने से लोगों को दफ्तर के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे लेकिन विभागीय लापरवाही से मशीनें उपयोग में नहीं आ रही है।

ये सुविधाएं है ई-मित्र प्लस में :

ई-मित्र प्लस मशीन दिखने में एटीएम जैसी दिखाई देती है। इसमें 32 इंच एलईडी के साथ मॉनिटर डिवाइस, वेब कैमरा, कैश असेप्टर, कार्ड रीडर, मैटलिक की बोर्ड, रसीद के लिए नार्मल प्रिंटर, लेजर प्रिंटर आदि मौजूद हैं। मशीन में मौजूद वेब कैमरे से आम नागरिक उच्चाधिकारियों से वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए बातचीत भी कर सकते हैं।

ये सेवाएं मशीन में उपलब्ध

आमजन को अपने विभागीय कार्यों के लिए भटकना पड़े इसलिए इस मशीन से गिरदावरी, जमाबंदी की नकल, जन्म-मृत्यु प्रमाण पत्र, जाति, मूल निवास प्रमाण पत्र का प्रिन्ट, बिजली-पानी बिल जमा करने सहित अनेक प्रकार की सरकारी व निजी सेवाएं आधुनिक तकनीक के माध्यम से देने के लिए राज्य सरकार ने ई-मित्र प्लस योजना पूर्व में चलाई थी, लेकिश शो-पीस बनकर रह गई।

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