बांसवाड़ा। राजधानी जयपुर की तर्ज पर अब प्रदेश के जिलों में भी कन्वेंशन सेंटर बनाए जाएंगे। इसकी शुरुआत पाली और बांसवाड़ा से होगी। कन्वेंशन सेंटर के लिए न्यूनतम 10 हजार वर्ग मीटर की जगह तय की जाएगी। जिला परिषद ने इसका प्लान बनाकर जयपुर भेजने की तैयारी शुरू कर दी है।
बांसवाड़ा जिले के अत्याधुनिक कन्वेंशन सेंटर के लिए ठीकरिया में जमीन की तलाश की जा रही है। जिला परिषद सीईओ गोपाललाल स्वर्णकार ने मौका देखा है। स्वर्णकार ने बताया कि जमीन देख ली है। अब जिला कलक्टर से चर्चा की जाएगी। उसके बाद सरकार को प्लान भेजा जाएगा।
यह है उद्देश्य
सरकार चाहती है कि जिलों की अर्थव्यवस्था को राजधानी की तर्ज पर गति मिले। खासकर पर्यटन, व्यापार और सेवा क्षेत्रों इसमें शामिल हैं। यदि जिला स्तर पर सुविधाएं होंगी तो कई काम होंगे। साथ ही निर्माण कार्य और सेंटर के संचालन से स्थानीय युवाओं के लिए रोजगार के अवसर पैदा होंगे। बड़ी कंपनियां भी इन केन्द्रों में अपने आयोजन कर सकेंगी। सरकार ने 10 हजार वर्ग मीटर जगह तय करने के आदेश दिए हैं। यानि यह 1 लाख 7 हजार 639 वर्गफीट में बनेगा।
ऐसे बनता है क्षेत्र
पहले जमीन का चयन किया जाता है। इसके बाद राजस्व विभाग सहमति देता है और फिर जिला कलक्टर डिमांड निकालता है। रीको पैसा जमा करा देता है तब प्रशासन कब्जा दिलाया है। फिर प्लानिंग बना कर क्षेत्र को विकसित किया जाता है। इसके बाद रीको मुख्यालय प्रशासनिक और वित्तीय जारी करता है। फिर तय होता है कि भूखंडों का विक्रय किस प्रकार करना है।
बांसवाड़ा में रीको का छठा क्षेत्र
वागड़ अंचल के बांसवाड़ा-डूंगरपुर दोनों जिलों के लिए रीको से एक अच्छी खबर है। बांसवाड़ा-डूंगरपुर दोनों जिलों को जल्द ही नए औद्योगिक क्षेत्र मिलेंगे। इसके लिए रीको को राजस्व विभाग की अनुमति मिल चुकी है। जिले में छींच के पास 8 हेक्टेयर में नया क्षेत्र बनेगा। जबकि डूंगरपुर के थामली में 50 हेक्टेयर में औद्योगिक क्षेत्र विकसित किया जाएगा। छींच के पास पूर्व में एक जमीन को प्रशासन ने निजी उद्योग के लिए आरक्षित की थी।
इसके बाद इस जमीन पर उद्योग नहीं लगा। लंबे समय से इस जमीन को लेकर जद्दोजहद चल रही थी। आखिर में इस जमीन को रीको को देने का निर्णय लिया गया है। जबकि डूंगरपुर के भाटोली में जमीन को अधिग्रहित कर रीको को दी जाएगी। इसके लिए रीको ने भी अपने स्तर पर तैयारियां शुरू कर दी हैं। बांसवाड़ा में रीको को यह छठा क्षेत्र होगा। इससे पहले ठिकरिया, पीपलवा, कुशलगढ़, घाटोल और परतापुर में क्षेत्र बनाए जा चुके हैं। इसमें ठीकरिया और पीपलवा पूर्ण विकसित हो चुके हैं।
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यह है योजना
राज्य सरकार की ओर से ‘डॉ. श्यामाप्रसाद मुखर्जी जिला उत्थान योजना’ के तहत यह निर्माण होगा। बैठक, सम्मेलन, कार्यशाला, प्रदर्शनी व अन्य व्यावसायिक आयोजनों के लिए सुविधाजनक भवन बनाया जाएगा। जयपुर में टोंक रोड पर ‘राजस्थान मंडपम कन्वेंशन सेंटर’ बनाने की योजना है। इसकी क्षमता लगभग 7000 से 7500 सीटों की है। इसे भारत मंडपम (दिल्ली) की तर्ज पर विकसित किया जा रहा है। जयपुर की तर्ज पर जिलों में कन्वेंशन सेंटर बनाए जाएंगे।
दोनों जिलों में मिल रही जमीन
बांसवाड़ा में छींच के पास और डूंगरपुर के भटोली में जमीन मिलने जा रही है। राजस्व विभाग से अनुमति मिल चुकी है। बड़ी संख्या में उद्योग लगाए जा सकेंगे।
- बीकाराम निमेष, रीजनल मैनेजर, रीको, बांसवाड़ा


