MP News: मध्यप्रदेश के सागर में मंडी व्यापारी के मुनीम से लूट करने वाले फरार दो आरोपियों को पुलिस ने नेपाल के काठमांडू से गिरफ्तार किया है। पुलिस आरोपियों को सागर लेकर आई है और उनका जुलूस निकाला। इनके कब्जे से लूटे गए 14 लाख रुपए में से 10 लाख 40 हजार रुपए बरामद किए हैं, वहीं घटना में प्रयुक्त बाइक जब्त की है। लूट की वारदात को अंजाम देने के बाद आरोपी धर्मेन्द्र ठाकुर 38 वर्ष निवासी ग्राम सेमराकलां और कुलदीप दांगी 23 वर्ष निवासी पिपरिया बिलहरा पुलिस के शिकंजे से बचने के लिए देश की सीमा लांघ नेपाल भाग गए थे।
एक गलती से पकड़ाए
पुलिस ने बताया कि वारदात के बाद आरोपी पहले राहतगढ़ पहुंचे, यहां रुपए का बंटवारा कर बीना-खुरई होते हुए बस से भोपाल और फिर ट्रेन से दिल्ली पहुंचे। दिल्ली पहुंचने के बाद वह सभी देहरादून के रास्ते नेपाल पहुंचे। जहां वह एक धर्मशाला में रुके थे। शातिर अपराधियों ने पुलिस से बचने के लिए अपने फोन बंद कर लिए थे। इसी बीच वह एक चूक कर बैठे धर्मेंद्र ने भोपाल में एक व्यक्ति से फोन लेकर परिवार के सदस्य को फोन लगाया था। यहीं से पुलिस को आरोपियों की लोकेशन का पता चला। जानकारी लगते ही पुलिस ने तत्काल आरोपियों का पीछा किया। पुलिस ने पहचान करने के लिए भगवानगंज स्थित बैंक से लेकर वारदात स्थल तक के कैमरे देखे। इसके बाद भोपाल में कैमरों की तलाशी ली गई, जिससे पहचान की पुष्टी हुई।
3 टीमें बनाई थीं, 70 से अधिक सीसीटीवी कैमरों के फुटेज खंगाले
पुलिस ने आरोपियों को पकड़ने के लिए अलग-अलग तीन टीमों को भोपाल, दिल्ली और नेपाल के काठमांडू के लिए रवाना किया। पूरी कार्रवाई के दौरान पुलिस ने करीब 70 से ज्यादा कैमरों की फुटेज खंगाली। नेपाल पुलिस से समन्वय स्थापित करने के बाद सीमा पार कार्रवाई को अंजाम दिया गया। लोकेशन के आधार पर मुख्य आरोपी धर्मेंद्र और साथी कुलदीप को गिरफ्तार किया। आरोपी धर्मेन्द्र ने पूरी प्लानिंग की थी और साथियों को तक नहीं बताया था। उसने पहले हफ्ते भर तक अकेले ही मुनीम की रैकी की। पूरी योजना बनाने के बाद उसने घटना के दिन साथी भूपेंद्र और कुलदीप सिंह को बुलाया, तीनों ने शराब पार्टी की। इसके बाद दोनों को भरोसे में लेकर लूट का प्लान बताया और वारदात को अंजाम दिया था।


