बांका के रजौन थाना क्षेत्र में ओड़हरा गांव जाने वाली ग्रामीण सड़क को रेलवे प्रशासन द्वारा काटे जाने का प्रयास किया गया। ग्रामीणों के विरोध के बाद रेलवे को जेसीबी से खोदे गए गड्ढे को वापस भरना पड़ा। यह घटना भागलपुर-मंदारहिल रेल खंड के समपार संख्या 21 के पास खंभा संख्या 31/08 व 31/09 के समीप हुई। रेलवे प्रशासन ने बिना किसी पूर्व सूचना के JCB मशीन से मुख्य रास्ता काटकर बंद करने का प्रयास किया था। इसकी जानकारी मिलते ही दर्जनों ग्रामीण मौके पर पहुंच गए और उन्होंने इस कार्य का विरोध किया, जिसके बाद काम रोक दिया गया। कोई वैकल्पिक मार्ग उपलब्ध नहीं ग्रामीणों का कहना है कि ओड़हरा गांव तक आने-जाने के लिए यह एकमात्र रास्ता है और कोई वैकल्पिक मार्ग उपलब्ध नहीं है। इसी मार्ग पर हाल ही में प्रधानमंत्री योजना के तहत ग्रामीण सड़क का निर्माण कराया गया है। यह सड़क रजौन और पुनसिया बाजार जाने का सीधा मार्ग भी है। आवश्यक सेवाएं इसी सड़क से आती-जाती ग्रामीणों ने बताया कि गांव में स्कूली बसें, एंबुलेंस और अन्य आवश्यक सेवाएं इसी सड़क से आती-जाती हैं। रास्ता बंद होने से गांव का संपर्क पूरी तरह कट जाएगा। ग्रामीणों का आरोप है कि रेलवे प्रशासन बार-बार जेसीबी से सड़क काटकर अवरुद्ध करने का प्रयास कर रहा है। विधानसभा चुनाव में वोट बहिष्कार तक का निर्णय लिया ओड़हरा गांव में पंचायत भवन भी स्थित है, जहां पूरे पंचायत के लोगों को सरकारी कार्यों के लिए आना-जाना पड़ता है, और इसके लिए भी यही एकमात्र मार्ग है। ग्रामीणों ने बताया कि पूर्व में इसी क्रॉसिंग को बार-बार काटे जाने से परेशान होकर उन्होंने विधानसभा चुनाव में वोट बहिष्कार तक का निर्णय लिया था। ग्रामीणों के विरोध के बाद भरना पड़ा था इससे पहले 14 दिसंबर को आनंदपुर गांव जाने वाली गेट संख्या 15 के पास भी रेलवे प्रशासन ने इसी तरह रास्ता काटकर बंद करने का प्रयास किया था, जिसे ग्रामीणों के विरोध के बाद भरना पड़ा था। ग्रामीणों ने मांग की है कि जब तक अंडरपास, मानव रहित समपार, रेलवे फाटक या ओवरब्रिज जैसी कोई वैकल्पिक व्यवस्था नहीं की जाती, तब तक मुख्य सड़क को अवरुद्ध न किया जाए। बांका के रजौन थाना क्षेत्र में ओड़हरा गांव जाने वाली ग्रामीण सड़क को रेलवे प्रशासन द्वारा काटे जाने का प्रयास किया गया। ग्रामीणों के विरोध के बाद रेलवे को जेसीबी से खोदे गए गड्ढे को वापस भरना पड़ा। यह घटना भागलपुर-मंदारहिल रेल खंड के समपार संख्या 21 के पास खंभा संख्या 31/08 व 31/09 के समीप हुई। रेलवे प्रशासन ने बिना किसी पूर्व सूचना के JCB मशीन से मुख्य रास्ता काटकर बंद करने का प्रयास किया था। इसकी जानकारी मिलते ही दर्जनों ग्रामीण मौके पर पहुंच गए और उन्होंने इस कार्य का विरोध किया, जिसके बाद काम रोक दिया गया। कोई वैकल्पिक मार्ग उपलब्ध नहीं ग्रामीणों का कहना है कि ओड़हरा गांव तक आने-जाने के लिए यह एकमात्र रास्ता है और कोई वैकल्पिक मार्ग उपलब्ध नहीं है। इसी मार्ग पर हाल ही में प्रधानमंत्री योजना के तहत ग्रामीण सड़क का निर्माण कराया गया है। यह सड़क रजौन और पुनसिया बाजार जाने का सीधा मार्ग भी है। आवश्यक सेवाएं इसी सड़क से आती-जाती ग्रामीणों ने बताया कि गांव में स्कूली बसें, एंबुलेंस और अन्य आवश्यक सेवाएं इसी सड़क से आती-जाती हैं। रास्ता बंद होने से गांव का संपर्क पूरी तरह कट जाएगा। ग्रामीणों का आरोप है कि रेलवे प्रशासन बार-बार जेसीबी से सड़क काटकर अवरुद्ध करने का प्रयास कर रहा है। विधानसभा चुनाव में वोट बहिष्कार तक का निर्णय लिया ओड़हरा गांव में पंचायत भवन भी स्थित है, जहां पूरे पंचायत के लोगों को सरकारी कार्यों के लिए आना-जाना पड़ता है, और इसके लिए भी यही एकमात्र मार्ग है। ग्रामीणों ने बताया कि पूर्व में इसी क्रॉसिंग को बार-बार काटे जाने से परेशान होकर उन्होंने विधानसभा चुनाव में वोट बहिष्कार तक का निर्णय लिया था। ग्रामीणों के विरोध के बाद भरना पड़ा था इससे पहले 14 दिसंबर को आनंदपुर गांव जाने वाली गेट संख्या 15 के पास भी रेलवे प्रशासन ने इसी तरह रास्ता काटकर बंद करने का प्रयास किया था, जिसे ग्रामीणों के विरोध के बाद भरना पड़ा था। ग्रामीणों ने मांग की है कि जब तक अंडरपास, मानव रहित समपार, रेलवे फाटक या ओवरब्रिज जैसी कोई वैकल्पिक व्यवस्था नहीं की जाती, तब तक मुख्य सड़क को अवरुद्ध न किया जाए।


