राजस्थान के रोहट तहसील के चोटिला गांव के महात्मा गांधी अंग्रेजी माध्यम विद्यालय में शिक्षकों की लापरवाही सामने आई है। स्कूल में अध्यापक एक पांच साल के मासूम को कक्षा कक्ष में बंद कर घर चले गए। बच्चे के घर नहीं पहुंचने पर परिजन व ग्रामीण उसे खोजते हुए विद्यालय पहुंचे तो बच्चे के रोने की आवाज सुनी। इस पर दो घंटे बाद ताला तोड़कर उसे बाहर निकाला।
8 अध्यापक नियुक्त
गांव के उमावि परिसर में दो कक्ष में महात्मा गांधी अंग्रेजी माध्यम विद्यालय संचालित है। स्कूल में 8 अध्यापक नियुक्त हैं और केवल 32 विद्यार्थी हैं। स्कूल की शुक्रवार को छुट्टी होने पर कुछ अध्यापक उच्च माध्यमिक विद्यालय में थे। महात्मा गांधी स्कूल के मौजूद अध्यापकों को घर जाने की इतनी जल्दी थी कि एक पांच साल के मासूम मानव पुत्र बाबू गिरी गोस्वामी को कक्षा कक्ष में छोड़कर बाहर ताला लगा चले गए।
बच्चे के छु़ट्टी के बाद भी घर नहीं पहुंचने पर मां व परिजन उसे खोजने निकले। जब वे स्कूल के पास पहुंचे तो बच्चे के रोने की आवाज सुनाई दी। स्कूल परिसर गए तो ताला लगे कमरे से आवाज आ रही थी। ग्रामीणों ने ताला तोड़कर बच्चे को कक्ष से बाहर निकाला।
दो दिन पहले ही करवाया था प्रवेश
मानव का महज दो दिन पहले ही स्कूल में प्रवेश कराया था। उसे शुक्रवार को कक्षा में नींद आ गई। अध्यापकों ने ध्यान नहीं दिया और कक्ष के ताला लगा दिया। पता लगने पर ग्रामीणों ने पहले अध्यापकों को फोन लगाया, लेकिन उन्होंने रिसीव नहीं किया। जिस पर ग्रामीणों ने ताला तोड़ा। मामले में सीबीईओ कालिंद नंदिनी शर्मा ने चोटिला पीइइओ को नोटिस दिया है।
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घर जाकर मांगी माफी
बच्चे के बंद होने की जानकारी पर शनिवार को अध्यापक उसके घर गए। वहां परिजनों व अभिभावकों से माफी मांगी। ग्रामीणों ने घटना पर नाराजगी जताई तो शिक्षकों ने आगे से गलती नहीं करने व ध्यान रखने को कहा।
मैं रोहट में ब्लॉक स्तरीय निष्पादन कमेटी की बैठक में गया था। महात्मा गांधी विद्यालय इंचार्ज पुष्पेन्द्र हैं। स्कूल में हिन्दी की व्याख्याता को प्रभारी बनाया था। बच्चा महात्मा गांधी स्कूल में बंद रह गया। इसकी अध्यापक को दोपहर में सूचना मिली। उनके वहां पहुंचने से पहले ग्रामीणों ने ताला तोड़कर बच्चे को बाहर निकाल लिया। इस मामले अध्यापकों को नोटिस देकर जवाब मांगा है।
शंकरलाल सोनी, पीइइओ व प्रधानचार्य, चोटिला स्कूल